Sunday, March 20, 2011

आलोक तोमर का निधन

आलोक तोमर का निधन

वरिष्ठ पत्रकार, जांबाज पत्रकार, चर्चित पत्रकार, अदभुत पत्रकार आलोक तोमर हम लोगों के बीच नहीं रहे. आज उनका निधन हो गया. वे पिछले कई दिनों से जीवन और मौत से संघर्ष कर रहे थे. दिल्ली के बत्रा अस्पताल में भर्ती आलोक तोमर को कैंसर था. डाक्टरों ने बहुत पहले उनके न बचने के बारे में कह दिया था.
लेकिन आलोक तोमर अपने विल पावर और जिजीविषा के कारण कैंसर व मौत, दोनों को लगातार मात दे रहे थे. पर इस बार जब हालत बिगड़ी तो आलोक तोमर कई दिनों के संघर्ष के बाद अंततः इस दुनिया को अलविदा कह गए. आलोक तोमर जनसत्ता में अपनी रिपोर्टिंग के जरिए देश के कोने-कोने तक में चर्चित हुए. उन्होंने कई किताबें लिखीं. अपने बेलौस और बेबाक लेखन के कारण आलोक तोमर ने अपने लाखों-करोड़ों प्रशंसक बनाए.
प्रिंट मीडिया से करियर की शुरुआत करने वाले और लोकप्रियता की बुलंदियों तक पहुंचने वाले आलोक तोमर ने बाद के दिनों में न्यू मीडिया को अपना कर फिर से अपने लेखन को जन-जन तक पहुंचाना शुरू कर दिया. वे शब्दार्थ फीचर एजेंसी, डेटलाइन इंडिया वेबसाइट व न्यूज एजेंसी के जरिए देश के दर्जनों अखबारों में प्रकाशित होते रहते थे. उनके परिवार में उनकी पत्नी सुप्रिया व एक बिटिया मिष्टि हैं.

Comments (36)
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written by vikas, March 20, 2011
Sad news , Mai Aalok ji ke saath kaam kiya hai , media jagat ke Guru the aur mere bhi guru rah chuke hai , viswaas nahi hota ...
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written by अमित बैजनाथ गर्ग. जयपुर. राजस्थान., March 20, 2011
आलोक तोमर साहब को नमन...
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written by जोगेन्द्र सिंह, March 20, 2011
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बेहद दुखद समाचार......
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written by अतुल सिंघल, March 20, 2011
मुझे आलोक जी के साथ काम करने और काफ़ी कुछ सीखने का सौभाग्य मिला है. आलोक जी को मेरा नमन.
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written by Sanjay Sharma. Weekand Times, March 20, 2011
होली पर इससे ज्यादा दुखद समाचार और कोई नहीं हो सकता था. आलोक तोमर जी जैसी धारदार लेखनी मिलना बहुत मुश्किल है. मोत के इतने करीब हो कर भी अपने बही तेवर बनाये रखना बहुत हिम्मत की बात है. परम पिता परमेश्बर उनकी आत्मा को शांति और परिवार को यह दुःख सहने की ताकत प्रदान करे.
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written by ओमप्रकाश तिवारी , March 20, 2011
अत्यंत दुखद समाचार है । ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें एवं उनके परिजनों व मित्रों को यह दुख सहने की क्षमता दें ।
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written by jai kumar jha, March 20, 2011
दुखद खबर...
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written by प्रमोद प्रवीण, March 20, 2011
प्रभु दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें...यही कामना करता हूं...
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written by Anant Amit, March 20, 2011
holi ka den yeh khabar behad dukhad hay ,bhagwan unke atma ko santhe pardan karay.hamare samvadna......
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written by Akhilash Akhil, March 20, 2011
Alok ji ke khabar miltay he may jaha tha wahe kharah rah gaya ,yakin nahi ho raha hay,yeh hindi patrakarita ke eak yug ka avsan hay,swargeya s.p ji ka bad hindi patrakarita ke yah dusre bhare dukhade khabar hay.jisko kabhe bhe bhara nahe ja sakta hay,....hardek samvedna.
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written by anil saxena , March 20, 2011
Mene tomar sahab ko pada . sahi mayne me patrkaro ke aadrash rahe . unka jesa patrkar milna mushkil hai . sir aap great the , hai aur rahenge . mai aapko salyut karta hu.
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written by Satish Bhutani Reporter DAINIK BHASKAR, March 20, 2011
Oh Very Sad news in My News life/Jane mane journlist Aalok Tomar aab is duniya me nahi rahe/Unka jana kuch arsa pehle hi fix ho gaya tha/aakhirkar Cancer se lamba yudh karte huye is dunia se vida ho gay/unko meri orse BHAVBHEENI Shardanjali
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written by indian cirizen, March 20, 2011
aisa khara aadmi dubara paida nahi hoga...
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written by Sunit Mukherjee, March 20, 2011
Sad day for Indian Journalism.A great journalist,fighter to the core is no more.Inspirational for the budding journalists! May his soul rest in peace!
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written by संजीव समीर , March 20, 2011
आलोक तोमर कई पत्रकारों के प्रेरणास्रोत रहे हैं. उनके निधन से हिंदी पत्रकारिता को अपूरणीय क्षति हुई है. उन्हें कोडरमा जिले के पत्रकारों की ओर से विनम्र श्रद्धांजलि. भगवान उनकी आत्मा को शांति और उनके परिवार को इस दुखद घडी में शक्ति दे...
- संजीव समीर, कोडरमा
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written by Pankaj Tripathi, March 20, 2011
Alok ji ko shat-shat naman. Ek bebaak patrakar ka kabhi na lautna bahut takleef dega. Ishwar unki aatma ko shanti de.
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written by sanjay rathee, March 20, 2011
WE WILL MISS U
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written by Dev Shrimali NDTV Gwalior, March 20, 2011
अलोक जी के निधन से पूरा ग्वालियर -चम्बल स्तब्ध है ....हर जगह सिर्फ यही खबर है और उनकी पत्रकारिता और लेखों से जुड़े किस्सों की चर्चा .....जब तक हिंदी पत्रकारिता रहेगी आलोक तोमर जीवित रहेंगे ...नहीं तुम कभी नहीं मर सकते ...कभी नहीं
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written by कुमार सौवीर, महुआ न्‍यूज, लखनऊ, March 20, 2011
ना जाने कितने दीपकों को सूर्य-का सा आलोक देकर छुप गया एक आलोक।
इस नश्‍वर देह के दायित्‍व खत्‍म हुए तो मर गया तोमर। अब इस दायित्‍व को और भी आलोकित करने का जिम्‍मा उन सूरजों पर है जिन्‍हें आलोक तोमर ने उर्जा दी।
तो अब तो अपने आप को बेमिसाल आलोक सा साबित करने की जिम्‍मेदारी उन दीपकों-ढिबरियों और लालटेनों पर है कि वे कितने निर्भीक, ओजस्‍वी, आलोकित और बेखौफ उर्जावान बन सकते हैं जिन्‍हें धधकता सूरज बना कर आलोक तोमर ने भौतिक अवसान लिया।
हां, यह बात जरूर हमेशा मुझे सालती रहेगी कि उनके सामने बैठकर यह गाना गाने की ख्‍वाहिश पूरी नहीं कर सका ----
खेलैं मसाने में होली दिगम्‍बर, खेलैं मसाने में होली।
वैसे हिन्‍दी ही नहीं, बल्कि पूरी भारतीय पत्रकारिता का यह बेलौस दिगम्‍बर अब स्‍मृति-शेष है, यकीन ही नहीं हो रहा है। लेकिन छन्‍नू महराज के अंदाज में आलोक तोमर ने पत्रकारों को यह तो अहसास करा ही दिया कि ----
ना सोना साथ जाएगा, ना चांदी जाएगी,
सज धज कर जिस दिन मौत की शहजादी आयेगी।
ना सोना साथ जाएगा, ना चांदी जाएगी।

वैसे, आप याद बहुत आयेंगे आलोक भाई साहब। मुझे सुन रहे हैं ना, आप याद बहुत आयेंगे। जिन्‍दगी भर।
कुमार सौवीर
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written by Dev Shrimali NDTV Gwalior, March 20, 2011
अलोक जी के निधन से पूरा ग्वालियर -चम्बल स्तब्ध है ....हर जगह सिर्फ यही खबर है और उनकी पत्रकारिता और लेखों से जुड़े किस्सों की चर्चा .....जब तक हिंदी पत्रकारिता रहेगी आलोक तोमर जीवित रहेंगे ...नहीं तुम कभी नहीं मर सकते ...कभी नहीं
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written by devender singh, March 20, 2011
आलोक जी आप हमेशा हमारे साथ है....और रहेगे..

देवेंद्र सिंह तंवर
टी वी पत्रकार दिल्ली
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written by pushpranjan, March 20, 2011
BAHUT DUKHAD KHABAR HAI !

Kalam ke is sipahi ko Akhiri Salam.

-Pushpranjan
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written by योगराज शर्मा, March 20, 2011
आलोक जी को जर्नलिस्ट टुडे नेटवर्क की तरफ से श्रद्धांजलि व नमन... उनका जाना पत्रकारिता जगत के लिए अपूर्णीय क्षति है। परम पिता परमातमा से प्रार्थना है उन्हें अपने श्रीचरणों में स्थान दें और उनके परिवार व पत्रकारिता जगत को ये दुख सहन करने की शक्ति।
योगराज शर्मा, एडिटर इन चीफ, जर्नलिस्ट टुडे नेटवर्क
http://www.journalisttoday.com/
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written by anil pandey, March 20, 2011
holi ke din aisi dukhad khabar... yakin nahi hota.... lekin satya ko sweekarna hi hoga... desh ne ek jeewat, nirbheek kalam ke sipahi ko kho diya... iswar unki aatma ko shati pradan kare...
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written by binod anand, March 20, 2011
Alok ji ka nidhan byaktigat tour par mere liye bahut sdukhad hai patrkarita ke chetra me unka yogdan bhulaya nahi ja sakta main byakti gat rup se unhe janta tha unme jo jijibsa thi aur swahas tha wah har patrkar ko prerit karta rahega iswar unke aatma ko santi de thatha misti bitya aur bhabhi ji ko is dhokh se ubarne ka sahas de

BINOD ANAND
EDITOR
ANTARKATHA
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written by MUKESH RAJPOOT , March 20, 2011
हिन्दी पत्रकारिता के लिए आलोक जी का निधन बेहद दुखद है..आलोक जी के स्थान को भर पाना किसी के बूते की बात नहीं ....सही मायने में सही को सही और गलत को गलत बताने के उनके बे-बाक अंदाज़ को हमेशा याद रखा जायेगा ... अलोक जी के शोक संपत परिवार को हमारी संवेदना ...
मुकेश राजपूत चंडीगढ़
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written by sharad srivastava, March 20, 2011
शब्द नहीं हैं मेरे पास इस दुख को बयां करने के लिए...आखों में आंसू हैं...आलोक सर मेरे लिए बहुत बड़े प्रेरणास्त्रोत थे...शब्दों के इस जादूगर की कमी शायद ही कोई भर पाएगा.
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written by D Singh , March 20, 2011
alok tomar ke nidhan se main bahut maremahat ho. aap ki patrakarita se log loha mante the.puri jindagi bade shan se patrakarita ki aur bade rajniotigyo se samband hone par bhi labh nahi liya.bhagwan aap ki atma ko shanti pradan kare.aur alok ji ke mitro se nivedan karoga ki unki patni aur
baccho ka khyal rakhe.
antim darshan to karnahi sakte ish liye bhadas ke hi madhyam se aap ko shradhanji arpit karte hai.
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written by pramodpal singh meghwal, March 20, 2011
होली के दिन एक प्रिय एवं आदरणीय पत्रकार को खोना दुखद हैं। मैं उनके आलेखों को पढ़ा करता था। उनके लेखन में रफ्तार एवं संप्रेषण था। उनके लेखन से सिखने एवं समझने को मिलता था। आज के दिन हिन्दी पत्रकारिता ने आलोकजी जैसा सितारा खो दिया हैं।
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written by deepak khokhar, March 20, 2011
ये हिन्दी पत्रकारिता के लिए बड़े ही दुख की बात है


दीपक खोखर
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written by मदन कुमार तिवारी, March 20, 2011
बहुत दुखद , बहुत दुखद
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written by pankaj kr. singh, March 20, 2011
Holi ki subah es dukhad khabar ne ham sabko aahat kar gaya, tomarjee ka jana patrkarita jagat ke sath hi B4M ki bhi badi chhati hai.ham tak jaan satta to nahin pahuchta tha,lekin bhadas ke jariye alokjee ke vichar hamesha pahuchate rahe.
aub unaki lekhani to nahin par unka tarika hamare bich shesh hai,jo ham sabko prerana deta rahega.
yashvantjee aap hamari sradhanjali unake parijanon tak preshit karenge.
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written by Rajendra, March 20, 2011
alok ji ka nidhan patrakarita jagat ke liye dukhad h. hardik samvedna.
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written by rajendara hada, March 20, 2011
yeh hindi parakarita ke ek yug ka avsan hai.
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written by balchanwa, March 20, 2011
sabko ek din jana hai. lekin alok ji etni jaldi humlogo ko chor kar chle jayenge. yakin nahi ho raha. shayad mai yakin karna bhi nahi chahta hun.
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written by amit k bajpai, March 20, 2011
होली के दिन ये सूचना वाकई बेहद दुखद है..भगवान उनकी आत्मा को शांति और उनके परिवार को इस दुखद घडी में शक्ति दे...भारतीय पत्रकारिता के लिए यह एक अपूर्णीय क्षति है. इस रिक्त स्थान को भर पाना नामुमकिन हैं....

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