**राधास्वामी!! 28-02-2021- भंडारा परम गुरु हुजूर साहबजी महाराज (आरती) पढे गये पाठ:-
(1) गुरु प्रीति बढी चितवन में।
सुर्त खैंच धरी चरनन में।।-(
राधास्वामी गुरु हम पाये। पी चरन अम्बु तृप्ताये।।)
(सारबचन-शब्द-तीसरा- पृ.सं.178,179,180-)
आरती के बाद:- स्पेशल पाठ:-
(1) कौन सके गुन गाय तुम्हारेः
कौन सके गुन गाये जी।।
कामी क्रोधी लोभी हम से।
चरनन आन मिलाये जी।।
-(राधास्वामी दयाल चरन की।
महिमा निसदिन गाये जी।।)
(प्रेमबिलास-शब्द-24-पृ.सं.29,30)
(2) गुरू दयाल(मेरे दयाल) अस करिये दाया।
तुम्हरी सेवा और तुम भक्तन की बनत रहे सिर नाया।।-
(दुर्मति दूर हटे जीवन से सतमत के फल चाखें।
प्रेम मगन होय सभी उमँग से राधास्वामी २ भाखें।।)
(प्रेमबिलास-शब्द-115-पृ.सं.171,172)
🙏🏻राधास्वामी🙏🏻
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