*राधास्वामी रक्षक जीव के, जीव न जाने भेद.
गुरु चरित्र जाने नहीं, रहे करम के खेद..
खेद मिटे गुरु दरस से, और न कोई उपाये.
सो दर्शन जल्दी मिले, बहुत कहा मैं गाये..
राधास्वामी से सतगुरु नहीं,
राधास्वामी सा निज नाम..
सुरत शब्द सम योग नहीं, पाया भेद अनाम
राधास्वामी गुरु समरथ, तुम बिन और न दूसरा
अब करो दया परतक्ष, तुम दर एती विलंब क्यों
दया करो मेरे साइयाँ, देव प्रेम की दात
दुख सुख कछु ब्यापे नहीं, छूटे सब उत्पात**
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*परम गुरु परम पितु हुजूर डा० एम० बी० लाल साहब जी का पावन भंडारा की समस्त सतसंग जगत व प्राणीमात्र को बहुत बहुत बधाई।*
*🙏🏻राधास्वामी🙏🏻*
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🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻radhasoami🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹राधास्वामी..
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