Tuesday, October 11, 2022

समय फिर ऐसा नहिं पावो,


 🙏🍁RADHASOAMI 


राधास्वामी  🍁🙏

हुए परसन गुरू दीनदयाल,

 लिया मोहि अपनी गोद बिठाल, 

भाग मेरा जागा आज अपार, 

मिले राधास्वामी निज दिलदार


 🙏🍁

RADHASOAMI 

राधास्वामी  🍁🙏



🙏🍁RADHASOAMI 🍁🙏


समय फिर ऐसा नहिं पावो, 

खोवो मत नहिं फिर पछतावो;

 सरन से गुरू की काज बन आय,

 मेहर कर राधास्वामी कहें समझाय 


🙏RADHASOAMI 🍁



 माटी चुन चुन महल बनाया,

 लोग कहें घर मेरा, ना घर तेरा, ना

 घर मेरा, चिड़िया रैन बसेरा!

 कौड़ी कौड़ी माया जोड़ी, 

जोड़ भरेला थैला, 

कहत कबीर सुनो भाई साधो,

 संग चले ना धेला!!

 उड़ जाएगा हंस अकेला!!!

🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻



 🙏🌹 राधास्वामी🌹🙏



मैं अपराधी जनम का , 

नख शिख भरा विकार।

तुम दाता दुखभंजना,

 मेरी करो सम्हार ।।


🙏🌹राधास्वामी 🙏🌹


 🙏🍁RADHASOAMI 🍁🙏


गुरू अब कहते हेला मारी, 

शब्द बिन कोई न करे उपकारी


🙏🍁RADHASOAMI 🍁🙏




🙏🍁RADHASOAMI 🍁🙏


घर तुम्हारे कुछ कमी न होई,

 चित्त मेरा ठैराय, 

 जस तस दान देव यह प्यारे,  

जस तस लेव अपनाय


🙏🍁RADHASOAMI 🍁🙏



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